हिमाचल प्रदेश में अब राशन कार्ड की तरह बिजली मीटर भी आधार नंबर से लिंक होंगे। बिजली बोर्ड घरों में लगे मीटरों की ई-केवाईसी करेगा। यह ई-केवाईसी बिजली बोर्ड के कर्मचारी घर-घर जाकर करेंगे। इसके लिए सभी जोन चीफ इंजीनियरों, ऑपरेशन सर्कल, इलेक्ट्रिक सब-डिवीजन और फील्ड स्टाफ को निर्देश जारी किए गए हैं।
उपभोक्ताओं की ई-केवाईसी बिजली बोर्ड के मोबाइल एप से होगी। पहले चरण में इस सर्वे में घरेलू उपभोक्ता और होटल मालिक शामिल होंगे। बिजली बोर्ड यह पता लगाएगा कि घरों में कितने मीटर लगे हैं और कौन से उपभोक्ता उनका उपयोग कर रहे हैं। मकान मालिक और किरायेदारों के मीटर की भी अलग पहचान होगी। इस सर्वे के जरिए सरकार उपभोक्ताओं को 300 यूनिट फ्री बिजली भी प्रदान करेगी।

ई-केवाईसी के लिए जरूरी दस्तावेज: बिजली बिल बनाने वाले कर्मचारी ही ई-केवाईसी प्रक्रिया भी करेंगे। उपभोक्ताओं को इसके लिए आधार कार्ड, राशन कार्ड, पुराना बिजली बिल और पंजीकृत मोबाइल नंबर देना होगा।
राजधानी शिमला सहित पूरे प्रदेश में सर्वे शुरू: शिमला और प्रदेश के अन्य हिस्सों में सर्वे शुरू हो चुका है। पहले चरण में शिमला शहर में बिजली बोर्ड के उच्च अधिकारियों ने स्वयं एप के जरिए सर्वे किया है। अब कर्मचारी घर-घर जाकर यह सर्वे करेंगे।